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Showing posts from January, 2015

Accounting Entries for Sale of Goods & Fixed Assets

Accounting Entries for Sale of Goods & Fixed Assets जब भी कभी goods बेची जाती है तो वो दो तरह से बेची जा सकती है – 1.) या तो cash मे जिसे Cash Sale कहते है ! ( जो लोग सिर्फ cash sale करते है , आपने उनकी दुकानों पर ये लिखा हुआ भी देखा होगा “ नकद बड़े शोक से , उधार अगले चौक से ”  2.) या फिर कुछ दानवीर लोग भी होते है जो दुसरो को उधार माल भी बेचते है ऐसी उधार sale को credit Sale कहते है ! 3.) कभी कभी जब assets पुरानी हो जाती है तो वो काम कम करती है और खर्चा ज्यादा मांगती है तो Businessman सोचता है की क्यूँ न इस पुरानी Machine को बेच दू और नई Machine खरीद लू ! इस तरह वो अपनी पुरानी assets को OLX पर बेच देता है ! Entries for Cash Sale:-                    Entries for Credit Sale:-           Entry for Fixed Assets Sale Cash A/c                     Dr.   ...

Concept of Payment Advice

Concept of Payment Advice Payment Advice एक important concept है और इसके बारे में हम सभी को पता भी होना चहिये! Let’s understand this concept. जब भी हम किसी को उधार माल (Credit Sale)  बेचते है तो entry करते है :- Debtor A/c          Dr.        To Sales A/c Practically जब भी हम उधार माल बेचते है तो अपने debtor को credit period allowed करते है generally 1-2 months. Assume that  Mr. Santa (Seller) Sold Goods to Mr. Banta (Buyer) जब भी Santa (Seller) Mr. Banta को goods sold करता है तो उसे Sales invoice/bill issue करता है. Assume that Mr. Santa has issued the following bills to Mr. Banta:- Sr. No. Bill Date Invoice No. Bill Amount (In Rs.) 1 02/12/2014 0873 28,400.00 2 04/12/2014 0914 26,700.00 3 09/12/2014 1050 30,872.00 4 ...